'जनसंख्या संतुलन व सामाजिक संरचना के संरक्षण को सरकार प्रतिबद्ध'
देहरादून। देवभूमि उत्तराखंड के विकास के साथ ही सांस्कृतिक मूल्यों, जनसंख्या संतुलन और सामाजिक संरचना के संरक्षण के प्रति सरकार पूरी तरह प्रतिबद्ध है। उत्तराखंड की नीतियां और नवाचार आज अन्य राज्यों के लिए आदर्श बन कर विकसित भारत की दिशा तय करने में भूमिका निभा रहे हैं।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने शनिवार को ''विकसित भारत: 2047, विकास भी, विरासत भी'' थीम पर आयोजित तीन-दिवसीय 47वीं आल इंडिया पब्लिक रिलेशन कांफ्रेंस का उद्घाटन करते हुए यह बातें कहीं।
मुख्यमंत्री धामी ने सहस्त्रधारा रोड स्थित होटल एमराल्ड ग्रैंड में आयोजित कान्फ्रेंस के उद्घाटन समारोह को संबोधित करते हुए देशभर से आए जनसंपर्क विशेषज्ञों, प्रतिनिधियों एवं युवा प्रतिभाओं का स्वागत किया और कहा कि इस वर्ष की थीम ''पीआर विजन फार 2047'' विकसित भारत के संकल्प को साकार करने की दिशा में अत्यंत प्रासंगिक है।
उन्होंने कहा कि अब पब्लिक रिलेशन केवल सूचना संप्रेषण का माध्यम नहीं, बल्कि राष्ट्र निर्माण की प्रक्रिया का एक महत्वपूर्ण और प्रभावी अंग है। वर्तमान डिजिटल युग में, सूचना की प्रचुरता है, वहीं दूसरी ओर गलत सूचनाओं की चुनौती भी है। ऐसे में सरकार और जनता के बीच सही, समयबद्ध और भरोसेमंद संवाद स्थापित करना जनसंपर्क की बड़ी जिम्मेदारी है।मुख्यमंत्री ने कहा कि उत्तराखंड जैसे प्राकृतिक आपदा एवं सामरिक दृष्टि से संवेदनशील राज्य में संवाद केवल औपचारिकता नहीं, बल्कि विश्वास की बुनियाद है। उन्होंने कहा कि आपदा प्रबंधन, सुशासन, धार्मिक एवं पर्यटन प्रबंधन जैसे क्षेत्रों में भविष्य की पीआर प्रणाली को तेज, तकनीकी रूप से सक्षम और जनभावनाओं के प्रति संवेदनशील बनाना होगा, ताकि सरकार और जनता के बीच साझेदारी और विश्वास का संबंध स्थापित हो सके।
उन्होंने कहा कि पब्लिक रिलेशन संकट के समय एक सक्षम कमांड सेंटर की भूमिका निभाने के साथ-साथ, देश के लिए सकारात्मक नैरेटिव गढ़ने में भी महत्वपूर्ण योगदान दे सकता है। मुख्यमंत्री ने उत्तराखंड की 25 वर्षों की यात्रा को रेखांकित करते हुए कहा कि राज्य कीअर्थव्यवस्था का आकार वर्ष 2024-25 में लगभग 3.78 लाख करोड़ रुपये तक पहुंचने जा रहा है। प्रति व्यक्ति आय में भी उल्लेखनीय वृद्धि हुई है। बजट में अभूतपूर्व बढ़ोतरी हुई है और बेरोजगारी दर में ऐतिहासिक कमी आई है।
ऋषिकेश–कर्णप्रयाग रेल परियोजना, दिल्ली–देहरादून एक्सप्रेस-वे, रोपवे परियोजनाएं तथा हवाई अड्डों के विस्तार जैसे कार्य विकास को नई गति दे रहे हैं। शीतकालीन यात्रा की पहल के माध्यम से वर्षभर पर्यटन को बढ़ावा दिया जा रहा है। राष्ट्रीय एवं अंतरराष्ट्रीय रैंकिंग में हासिल उपलब्धियां राज्य के पारदर्शी, प्रभावी और जन भागीदारी आधारित शासन का प्रमाण हैं।

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