बीसीसीआई के बार-बार जोर देने के बावजूद विराट कोहली घरेलू क्रिकेट खेलने को लेकर इच्छुक नहीं दिख रहे थे। अचानक खबर आई कि वजह आगामी विजय हजारे ट्रॉफी में खेलेंगे। 15 साल बाद वह इस घरेलू वनडे टूर्नामेंट में खेलते दिखेंगे। आखिर अचानक घरेलू क्रिकेट को लेकर विराट कोहली का मन क्यों बदल गया? इसकी वजह सामने आई है। एक मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक बीसीसीआई ने रांची में विराट कोहली के दिए सार्वजनिक बयान से नाखुश थी। उसके बाद ही किंग कोहली ने घरेलू क्रिकेट खेलने का फैसला किया। .
कोहली का कौन सा बयान बीसीसीआई को नहीं आया रास?
विराट कोहली ने दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ रांची में खेले गए पहले वनडे में 135 रन की मैच जिताऊ पारी खेली थी। उसके बाद उन्होंने कहा था, 'मैं कभी भी बहुत ज्यादा तैयारी में यकीन करने वालों में नहीं रहा हूं। मेरा पूरा क्रिकेट मानसिक है। जब तक मैं मानसिक रूप से मजबूत महसूस करता हूं, मैं खेल सकता हूं।'
कोहली ने कहा था, ‘मैं 300 वनडे मैच खेल चुका हूं और 15-16 साल से बहुत क्रिकेट खेला हूं। अगर आप नेट में बिना कोई ब्रेक लिए डेढ़, दो घंटे खेल सकते हैं तब आप हर जरूरत को पूरी कर रहे हैं।’
बीसीसीआई ने कोहली, रोहित को घरेलू क्रिकेट खेलने को कहा था
अंग्रेजी अखबार इंडियन एक्सप्रेस की रिपोर्ट के मुताबिक कोहली के ये बयान बीसीसीआई को रास नहीं आए। उसने इससे पहले विराट कोहली और रोहित शर्मा दोनों को घरेलू एकदिवसीय प्रतियोगिताओं में हिस्सा लेने को कहा था ताकि वे भारत के ओडीआई प्लान का हिस्सा बने रहें। रोहित शर्मा ने पहले ही मुंबई क्रिकेट एसोसिएशन को विजय हजारे ट्रॉफी के लिए अपनी उपलब्धता के बारे में बता दिया था। दूसरी तरफ कोहली इस पर फैसला नहीं लिए थे। आखिरकार उन्होंने भी डीडीसीए को सूचना दी है कि वह विजय हजारे ट्रॉफी के लिए उपलब्ध रहेंगे।
आखिरकार बोर्ड की बात माननी पड़ी
डीडीसीए के अधिकारियों ने बताया, 'विराट ने विजय हजारे ट्रॉफी के लिए अपनी उपलब्धता की पुष्टि की है। वह सेंटर ऑफ एक्सिलेंस में होने वाले मैचों में खेलेंगे।' विजय हजारे ट्रॉफी में दिल्ली अपने अभियान की शुरुआत 24 दिसंबर को आंध्र प्रदेश के खिलाफ मैच से करेगी।

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