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जनता को ऐसे ही अफसर की दरकार The public needs such officers.

 बदमाशों की सेहत के लिए ठीक नहीं है "जसवंत सिंह"


(सागर से विपिन दुबे) 

सागर शहर की गलियों और चौराहों पर जब पुलिस की चर्चा होती है तो लोगों की जुबा पर मोतीनगर थाना प्रभारी जसवंत सिंह राजपूत का नाम ना आए ऐसा हो ही नहीं सकता। शहर में टॉकिंग पॉइंट के तौर पर सबसे पहले टीआई जसवंत सिंह राजपूत का नाम होता है। कारण...इस दिलेर और कुशल विवेचक अफसर ने आज से ठीक 20 महीने पहले मोतीनगर की कमान संभालने के बाद बदमाशों को बता दिया कि हम उनकी "सेहत के लिए ठीक नहीं" है। 



गलियों या कॉलोनीयों की बात हो लोग अपराधों से बेफिक्र है। दमोह; छतरपुर; पन्ना के अलावा अन्य जिलों में अपनी दिलेरी का डंका बजाने के बाद 7 फरवरी 2024 को टीआई जसवंत सिंह ने सागर शहर के भौगोलिक और जनसंख्या की दृष्टि से सबसे बड़े थाने मोतीनगर में अपनी आमद दी थी। 

अनकंट्रोल क्राइम की बात करें तो आज से कुछ साल पहले के आंकड़े उठाकर देख जाएं तो होली; दशहरा जैसे पर्वों पर इस थाना क्षेत्र में हत्या होना आम बात थी। लेकिन साल 2024 के बाद के आंकड़े देखे जाए अपराधों का ग्राफ काफी नीचे गिरा है। 

बात चाहे प्रोटोकॉल की हो या लॉ- इन-ऑर्डर की। जसवंत सिंह राजपूत हर टास्क पर अपने अफसर की उम्मीद पर खरे उतर रहे हैं। 

श्री राजपूत के इन 20 महीनो के कार्यकाल की तुलना की जाए तो चाहे अनसुलझे हत्याकांड हो या चोरी; लूट; डकैती सभी अपराधों का पर्दाफाश समय से पहले हुआ है। इनकी कुशल सेवाओं को हर बार सम्मान से नवाजा गया है। 

पिछले दिनों आईपीएल सट्टा पकड़ना और अपराध कर दूसरे राज्यों में भाग जाने वाले बदमाशों को गिरफ्तार कर इन्होंने जो वह-वाही लूटी है वह वाकई काबिले तारीफ है।

मोतीनगर थाना अंतर्गत रहने वाले संजय जैन विकास विश्वकर्मा नरेंद्र कुमार देवांश दुबे ने कहा मोती नगर थाने के लिए ऐसे ही अफसर की दरकार है। श्री राजपूत में नम्रता है और बदमाशों के लिए बेहद सख्त हैं। सबसे बड़ी बात तो यह है कि अपराधों में लिफ्त l कोई भी हो टीआई जसवंत सिंह राजपूत पर पॉलीटिकल प्रेशर काम नहीं करता। इसी थाना अंतर्गत रहने वाली संध्या जैन; रंजना दुबे; सावित्री सोनी; अनीता विश्वकर्मा सहित कई महिलाओं का कहना है मोतीनगर टीआई की कार्यप्रणाली बहुत ही उम्दा है। टीआई राजपूत के रहते हुए महिलाओं पर होने वाले क्राइम बहुत कम है।

 टीआई राजपूत के लिए रोजाना "गस्त" एक दिनचर्या

मोतीनगर टीआई जसवंत सिंह राजपूत की पुलिस विभाग की ओर से साप्ताहिक रात्रिकालीन गस्त का दिन शनिवार फिक्स है। लेकिन श्री राजपूत सोमवार से लेकर शुक्रवार की आधी रात तक अपने थाना इलाके में कभी पैदल तो कभी मोटरसाइकिल पर आम जनता के लिए मिलते हैं। हाल ही में तीन दिन पहले संवाददाता विपिन दुबे का रात करीब 2:00 बजे मोतीनगर थाना क्षेत्र की एक गली में टीआई साहब से सामना हो गया। मैंने पूछा सर आज गस्त है क्या? श्री राजपूत का जवाब था क्राइम कंट्रोल करने के लिए हमारे लिए तो रोजाना गस्त ही जरूरी है। गौरतलब है ऐसे संवेदनशील अफसर कम ही होते हैं जिन्हें अपने कर्तव्य और देशभक्ति जन सेवा की फिक्र होती है। श्री राजपूत के उम्दा कार्यों से हाल ही में 15 अगस्त के मुख्य समारोह में पुलिस विभाग और शासन ने इन्हें उत्कृष्ट सेवा से नवाजा है।

 पूर्व एसपी की तरह कुछ मामले जनचौपाल मैं समझौते से होते हैं हल

मोतीनगर थाने में छोटे-मोटे आपसी रंजिश वाले विवाद थाना प्रभारी की समझाइश से ही हल हो जाते हैं और दोनों पक्ष खुशी-खुशी एक दूसरे से हाथ मिलाते हैं। पड़ोसियों का नाली विवाद हो या अन्य छोटे विवाद थाना प्रभारी के समक्ष आते ही दोनों पक्षों को बुलाकर समझाइश दी जाती है और जो मामले आगे चलकर बड़े लोग रूप ले सकते थे वह थाना प्रभारी कि पहल पर तुरंत हल हो जाते हैं। मालूम हो सागर में रहे पूर्व एसपी अरुण प्रताप सिंह ने जिले के हर थाने में जनचौपाल की शुरुआत की थी वह अभिनव प्रयोग कभी कभार जसवंत सिंह भी करते हैं।

 पुलिस के लिए जनता एक सेतु की तरह : जसवंत सिंह 

थाना प्रभारी जसवंत सिंह राजपूत का कहना है पुलिस के लिए जनता का सहयोग जरूरी है। क्राइम कंट्रोल करने पुलिस के लिए जनता एक सेतु है। उन्होंने कहा आपके घरों के आसपास कभी भी कोई संदिग्ध कार्यप्रणाली देखें तत्काल पुलिस को सूचित करें। मकान मालिकों से भी श्री राजपूत का आग्रह है कि बिना जांच पड़ताल किए किराएदार ना रखें और किरायेदारों की सूचना संबंधित थाने को जरूर दें। जनता के सहयोग के बिना अपराधों पर काबू पाना कठिन है। सोशल मीडिया को लेकर श्री राजपूत का मत है कि भ्रामक; झूठी या धर्म संप्रदाय से जुड़े ऐसी कोई भी पोस्ट वायरल ना करें जिससे समाज में अशांति हो।

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