रोशनी और उल्लास का पर्व दीपावली आ गया है, लेकिन इसके साथ आने वाला प्रदूषण, पटाखों का धुआं और अत्यधिक मेकअप अक्सर हमारी त्वचा की चमक छीन लेता है। नागरिकों को सुरक्षित और स्वस्थ तरीके से त्योहार मनाने में मदद करने के उद्देश्य से अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) भोपाल के त्वचा रोग विभाग ने दीपावली के लिए विशेष स्किन केयर परामर्श जारी किया है
त्योहारों के दौरान हमारी त्वचा लगातार धुएं, दीयों के तेल और कास्मेटिक उत्पादों के संपर्क में आती है, जिससे एलर्जी या जलन की आशंका बढ़ जाती है। उन्होंने कहा कि कुछ सरल सावधानियों को अपनाकर हम न सिर्फ अपनी त्वचा को सुरक्षित रख सकते हैं, बल्कि बिना किसी परेशानी के त्योहार का पूरा आनंद भी ले सकते हैं।
माइल्ड क्लींजर का उपयोग करने की सलाह
डॉक्टरों ने सबसे पहले पटाखों के धुएं और अवशेषों से सीधे संपर्क से बचने की सलाह दी है, क्योंकि ये एलर्जी और जलन का कारण बन सकते हैं। बाहर से लौटने पर चेहरे और खुली त्वचा को तुरंत माइल्ड क्लींजर से धोने को कहा गया है। इसके अलावा बाहर निकलने से पहले हल्का माइस्चराइजर लगाना सुरक्षात्मक परत का काम करता है।
मेकअप के लिए नान-कामेडोजेनिक (मुंहासे न पैदा करने वाले) उत्पाद इस्तेमाल करें और रात को सोने से पहले उसे पूरी तरह हटाना अनिवार्य है। उन्होंने कहा कि संक्रमण से बचने मेकअप उत्पाद किसी के साथ साझा न करें।
त्योहार के बाद स्किन डिटॉक्स भी जरूरी
विशेषज्ञों ने सामान्य देखभाल के लिए शुष्क मौसम में त्वचा को अच्छी तरह माइस्चराइज करने और दिन के कार्यक्रमों में भी सनस्क्रीन लगाने की सलाह दी है। त्योहार खत्म होने के बाद पोस्ट-फेस्टिवल स्किन डिटाक्स पर भी जोर दिया गया है।
इसके तहत सप्ताह में एक या दो बार हल्के एक्सफोलिएंट का प्रयोग करने को कहा गया है, ताकि त्वचा पर जमा प्रदूषण हट सके। एम्स ने नागरिकों से अपील की है कि थोड़ी सी सावधानी और नियमित देखभाल से त्वचा को त्योहार से जुड़ी क्षति से बचाया जा सकता है।
जलन पर घरेलू नुस्खों से बचें, आहार पर दें ध्यान
एम्स के विशेषज्ञों ने दीयों और गरम तेल से दूरी बनाए रखने की चेतावनी दी है। हल्की जलन होने पर सबसे महत्वपूर्ण सलाह है कि टूथपेस्ट या मक्खन जैसे घरेलू नुस्खे बिल्कुल न लगाएं। जलन वाली जगह को तुरंत 10-15 मिनट तक ठंडे पानी से धोएं और उसके बाद सिल्वर सल्फाडियाजीन या एलोवेरा जेल लगाएं।
आहार पर नियंत्रण की सलाह देते हुए कहा कि मिठाइयों का सेवन सीमित करें, क्योंकि अधिक शक्कर और तले हुए खाद्य पदार्थ मुंहासों को बढ़ा सकते हैं। इसके बजाय पर्याप्त पानी पिएं और संतरा, पपीता, अनार जैसे एंटीआक्सीडेंट से फल खाएं।

Post a Comment